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लखनऊ व्यथित होती सरकारें और मजबूत होती बुढ़ापे की लाठी


 लखनऊ व्यथित होती सरकारें और मजबूत होती बुढ़ापे की लाठी


अदिती न्यूज श्री न्यूज 24 पोर्टल यूट्यूब चैनल लखनऊ रायबरेली


पत्रकार प्रवीण सैनी लखनऊ 


एक के बाद एक प्रान्त सरकारों द्वारा पुरानी पेंशन बहाली से केन्द्र सरकार और अन्य राज्य सरकारों पर पुरानी पेंशन देने का बढ़ता दबाव


         जैसा की सर्वविदित है वर्ष दो हजार चार में भाजपा सरकार ने केंद्रीय कर्मियों के लिए पुरानी पेंशन समाप्त कर एन पी एस लागू किया था कालान्तर में पश्चिम बंगाल केरल और त्रिपुरा को छोड़कर देश के सभी प्रांतों ने पुरानी पेंशन समाप्त कर एनपीएस प्रणाली लागू कर दी थी पश्चिम बंगाल केरल और त्रिपुरा में उस समय मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी की सरकार थी  बाद में वर्ष दो हजार चौदह में कांग्रेस सरकार बनने पर केरल में पुरानी पेंशन समाप्त हो गई वर्ष दो हजार अठारह में भाजपा सरकार बनने पर त्रिपुरा में पुरानी पेंशन समाप्त हो गई किंतु पश्चिम बंगाल में दो हजार ग्यारह में सत्ता में आने के बाद ममता बनर्जी ने पुरानी पेंशन की व्यवस्था जारी  रखी

      कर्मचारियों के  बढ़ते दबाव के कारण पिछले वर्ष राजस्थान सरकार ने पुरानी पेंशन बहाल की इसके बाद छत्तीसगढ़ झारखंड और हिमाचल प्रदेश सरकार ने  भी पुरानी पेंशन बहाल कर दी है पंजाब सरकार ने पुरानी पेंशन बहाल करने का औपचारिक निर्णय कैबिनेट में ले लिया है सबसे नया मामला आंध्र प्रदेश का है आंध्र प्रदेश सरकार ने सात जून को गारंटीड पेंशन योजना लागू करने का निर्णय लिया है आइए समझते हैं यह सारा मामला क्या है

       आंध्र प्रदेश सरकार ने सात जून की कैबिनेट मीटिंग में दो महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं

    पहला निर्णय नई पेंशन प्रणाली   दो हजार चारसे समाप्त कर  ओपीएस पुरानी पेंशन के बजाय जीपीएस गारंटीड पेंशन स्कीम लागू करने का निर्णय है जिसके तहत कर्मचारी के वेतन से दस प्रतिशत कटता रहेगा और इतनी ही धनराशि सरकार देगी सेवा निवृत्ति के समय मिल रहे मूल वेतन का पचास प्रतिशत पेंशन मिलेगी कर्मचारी और शिक्षक संगठन इस फैसले का विरोध कर रहे है उनकी मांग है कि पुरानी पेंशन ओ पी एस लागू की जाए

    दूसरा निर्णय सभी दस हजार एक सौ सत्रहआउट सोर्स कर्मियों को नियमित करने का है

      कुछ साथी यह प्रश्न कर रहे हैं कि आंध्र प्रदेश सरकार द्वारा लिए गए निर्णय जीपीएस गारंटीड पेंशन स्कीम और ओ पी एस ओल्ड पेंशन स्कीम में अंतर क्या है और क्यों आंध्र प्रदेश के कर्मचारी जीपीएस का विरोध कर रहे हैं और मांग कर रहे हैं कि ओपीएस ही लागू की जाए जीपीएस और  ओ पी एस दोनों में ही यह व्यवस्था है कि सेवानिवृत्ति के समय मिल रहे मूल वेतन का पचास प्रतिशत पेंशन के रूप में दिया जाएगा। ओ पी एस के अंतर्गत पेंशन का पूरा दायित्व सरकार का होता है और पेंशन कंट्रीब्यूशन सरकार द्वारा जमा किया जाता है जीपीएस के अंतर्गत कर्मचारी को अपने वेतन से दस प्रतिसत प्रतिमाह कटाना होगा और इतनी ही धनराशि सरकार द्वारा पेंशन फंड में जमा की जाएगी

      अभी आंध्र प्रदेश सरकार द्वारा जीपीएस का आदेश नहीं किया गया है अतः जीपीएस की और खामियां अभी सामने नहीं आई है ओ पी एस एक टाइम टेस्टेड सिस्टम है ओ पी एस पर सभी को भरोसा है इसीलिए कर्मचारी मांग कर रहे हैं कि ओ पी एस ही लागू की जाए जीपीएस का आदेश होने के बाद और विवरण सामने आएगा

    जिन राज्यों में कर्मचारियों की सुध नहीं ली जा रही है उन्हें इन मुद्दों पर ध्यान देना चाहिए

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