कानपुर के दिग्गज ने कवि अन्नू अवस्थी व एमएलसी अरुण पाठक ने अंकित शुक्ला की राखियों की भूर भूर प्रशंसा की
कानपुर के दिग्गज ने कवि अन्नू अवस्थी व एमएलसी अरुण पाठक ने अंकित शुक्ला की राखियों की भूर भूर प्रशंसा की
अदिती न्यूज श्री न्यूज 24 पोर्टल यूट्यूब चैनल लखनऊ रायबरेली
संवाददाता संजय मिश्रा शिवगढ़ रायबरेली
सैनिकों के हाथों में सजेंगी गाय के गोबर से बनी राखियां अंकित शुक्ला
उन्नाव रक्षाबंधन पर पर्व को देखते हुए राष्ट्रीय सैनिक छात्र सेवा परिषद ने भाई बहन के पावन पर्व को आकर्षक बनाने के लिये गोबर से बनीं राखियों को सैनिकों को भेंट करने की ठानी है जिसके लिये संस्था द्वारा गोबर की राखियां बनायी जा रही हैं संस्था के संस्थापक अध्यक्ष अंकित शुक्ला ने ठाना है कि भाई बहन के पवित्र रिश्तों के प्रतीक रक्षाबंधन पर्व में इस साल गाय के गोबर से बनी राखियां सैनिकों को भेजी जाएंगी उन्होंने बताया कि कुसुम्भी गांव में देशी गाय के गोबर से राखियां बनायी जा रही हैं गाय के गोबर से बनी राखियों से होने वाली आय से गाय की रक्षा के लिए सार्थक प्रयास किए जाएंगे साथ ही राखियों के निर्माण होने से प्रदेश के ग्रामीणों को रोजगार भी मिलेगा जिससे वे आत्मनिर्भर बनेंगे वहीं चायनीज व पर्यावरण को प्रदूषित करने वाली राखियों से छुटकारा मिलेगा इसके अलावा विज्ञान के दृष्टिकोण से हाथ में गोबर से बनी राखी बांधने से रेडिएशन से भी सुरक्षा मिलेगी संस्था के अध्यक्ष अंकित शुक्ला ने बताया कि ये राखी बाजार में भी उतारी जाएंगी उन्होंने बताया कि ज्यादातर लोग रक्षाबंधन के कुछ देर बाद राखियां उतार कर इधर-उधर फेंक देते हैं भाई बहन के प्यार की प्रतीक राखी कुछ दिन बाद कचरे में
पहुंच जाती हैं इसी को देखते हुए राखियों में तुलसी व ककड़ी समेत अन्य बीज डाले जा रहे हैं ताकि लोग राखी को इधर-उधर फेंकने के स्थान पर गमले में या घर की बाड़ी में डाल सकते हैं इससे राखी के अंदर भरे गए बीज ऊग कर भाई बहन के
पवित्र रिश्ते की यादें ताजा करेंगे भेंट कर रहे हैं पर्यावरण संरक्षण के उद्देश्य से तुलसी ककड़ी समेत अन्य बीजों का भी किया जा रहा उपयोग उन्होंने बताया कि नष्ट होने के बाद भी ये राखी पर्यावरण को हानि नहीं पहुंचाएंगी संस्था अध्यक्ष अंकित शुक्ला ने बताया इस पर्व पर भाइयों की कलाई पर पहले स्वदेशी राखियां बांधी जाती थीं लेकिन अब उनके स्थान पर चीन में बनी राखियां आ गई हैं उन्होंने बताया कि कैंट बॉर्डर तक ग्यारह लाख राखियां पहुंचाने का काम किया जायेगा वह प्रतिदिन छोटे से बड़े अधिकारियों को राखियां संस्था अध्यक्ष अंकित शुक्ला ने बताया कि एमएलसी अरुण पाठक जी ने गाय के गोबर से बनी राखियों की भूरी भूरी प्रशंसा की एवं अंकित शुक्ला के लिए शब्द कहे जाएं कम है क्योंकि ऐसे हुआ के द्वारा देश प्रदेश जनपद का नाम रोशन होता है और अन्नू अवस्थी ने ऐसे अद्भुत पदार्थ की इतनी प्रशंसा की बोले की अंकित द्वारा किए जा रहे कार्य बहुत ही सराहनीय कदम उठाए है जिनके लिए पूरे प्रदेश से नेता अधिकारी प्रशासनिक प्रशंसा कर रहे हैं
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